जंगल की मजेदार कहानी - लोमड़ी और कौवा

लोमड़ी और कौवा

एक हरा-भरा जंगल था जहाँ कई जानवर एक साथ रहते थे, और एक चालाक कौवा एक बड़े पेड़ की ऊंची डाल पर रहता था।

लोमड़ी और कौवा

कौवा अपने भोजन को सुरक्षित रखने और चुराने के लिए मशहूर था। एक दिन वह एक रोटी लेकर टहनी पर बैठा था।

लोमड़ी और कौवा

नीचे से गुजरती भूखी लोमड़ी ने कौवे को रोटी के साथ देखा और उसे चालाकी से फंसाने की योजना बनाई।

लोमड़ी और कौवा

लोमड़ी ने मीठी आवाज में कौवे की तारीफ की और उसे एक गाना गाने के लिए कहा ताकि उसकी आवाज सुन सके।

लोमड़ी और कौवा

कौवा लोमड़ी की तारीफों में आ गया और गाना गाने के लिए अपनी चोंच खोली जिससे रोटी गिर गई।

लोमड़ी और कौवा

लोमड़ी ने तुरंत रोटी झपट ली और कौवे को समझाया कि यह उसकी भूख और कौवे की बेवकूफी का नतीजा था।

लोमड़ी और कौवा

कौवा अपनी गलती समझ गया और मन में कसम खाई कि भविष्य में वह झूठी तारीफों के झांसे में नहीं आएगा।

लोमड़ी और कौवा

कहानी से सीख मिलती है कि झूठी प्रशंसा करने वालों से सावधान रहना चाहिए, क्योंकि वे केवल अपने स्वार्थ के लिए ऐसा करते हैं।

लोमड़ी और कौवा

कहानी से सीख: झूठी प्रशंसा करने वालों से बचना चाहिए, क्योंकि वे केवल अपने फायदे के लिए ऐसा करते हैं।