जंगल का आतंक: तेंदुए से मुक्ति की कहानी

Sep 20, 2025, 01:12 PM

जंगल का आतंक

एक खतरनाक तेंदुए के हमले से गांव में दहशत फैल गई थी, जिससे लोगों का जीवन प्रभावित हो रहा था। किसान पर हमला होने के बाद, लोग डर के मारे घरों में बंद हो गए थे।

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तेंदुए के कारण बच्चे स्कूल नहीं जा पा रहे थे और खेतों में काम ठप हो गया था, जिससे गांव में भुखमरी की स्थिति पैदा हो गई थी।

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गांव वालों ने प्रशासन से मदद मांगी, लेकिन शिकारी न होने के कारण कोई समाधान नहीं मिला और तेंदुआ आदमखोर बन चुका था।

जंगल का आतंक

राजू और उसका दोस्त बीरू तेंदुए से निपटने की योजना बनाने के लिए एकजुट हुए, जिससे गांव की सुरक्षा सुनिश्चित हो सके।

जंगल का आतंक

दोनों दोस्तों ने चतुराई से तेंदुए को पकड़ने की रणनीति बनाई, जिसमें उन्होंने अपनी गंध छुपाने के लिए सेंट का उपयोग किया।

जंगल का आतंक

तेंदुए के गुफा से बाहर निकलते ही घंटी उसकी गर्दन में फंस गई, जिससे वह डरकर पहाड़ों की ओर भाग गया और गांव से दूर हो गया।

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तेंदुए के भाग जाने के बाद गांव में फिर से खुशहाली लौट आई, बच्चे स्कूल जाने लगे और खेतों में काम शुरू हो गया।

जंगल का आतंक

कहानी से यह सीख मिलती है कि साहस और चतुराई से किसी भी समस्या का समाधान किया जा सकता है, और टीमवर्क से डर पर काबू पाया जा सकता है।

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अभिभावक इस कहानी का उपयोग बच्चों में साहस और टीमवर्क की भावना बढ़ाने के लिए कर सकते हैं, जिससे उन्हें डर से लड़ने का हौसला मिले।