Read Full Story
पप्पी के घर में एक सुंदर फूलों की बाड़ी थी जिसमें तरह-तरह के रंग-बिरंगे फूल लगे थे, लेकिन मनीप्लांट नहीं था।
Read Full Story
पप्पी के मित्र प्रदीप ने उसे बताया कि मनीप्लांट को 'धन का पौधा' कहा जाता है और इसे चुराकर लगाना चाहिए क्योंकि खरीदा या माँगा हुआ पौधा मुरझा जाता है।
Read Full Story
पप्पी ने यह सुनकर शर्मा अंकल के गार्डन से मनीप्लांट चुराने की योजना बनाई, लेकिन वहां का खतरनाक कुत्ता 'रक्षक' और अंकल का क्रोधी स्वभाव उसे डराता था।
Read Full Story
एक दिन जब अंकल कुत्ते को घुमाने ले गए, पप्पी ने मौका देखा और गार्डन में घुसकर मनीप्लांट चुराने लगा।
Read Full Story
शर्मा आंटी ने पौधों की आवाज सुनकर पप्पी को पकड़ लिया और उसकी चोरी का कारण पूछा।
Read Full Story
पप्पी ने आंटी को बताया कि उसे प्रदीप ने बताया था कि मनीप्लांट चुराकर लगाने से घर में पैसा आता है।
Read Full Story
आंटी ने हंसते हुए समझाया कि मनीप्लांट लगाने से पैसा नहीं आता; मेहनत से ही धन मिलता है।
Read Full Story
आंटी ने पप्पी और प्रदीप को मनीप्लांट का एक-एक पौधा दिया और उन्हें भविष्य में चोरी न करने की कसम दिलाई।
Read Full Story
इस घटना से पप्पी और प्रदीप ने समझा कि मेहनत का कोई विकल्प नहीं है और वे खुशी-खुशी घर लौटे।
Read Full Story