भलाई की सीख देती बाल कहानी : सच्ची दोस्ती बाल कहानी - सच्ची दोस्ती : एक जंगल के किनारे एक गांव था। एक दिन उस जंगल से निकलकर एक बन्दर गांव में आ गया। वहां उसे एक झोपड़ी में रोटी पकने की सुगंध आई तो वो अंदर झांकने लगा। अंदर एक औरत रोटी पका रही थी और एक बच्चा खाना खा रहा था। बच्चे की नजर खिड़की पर गई तो उसे बन्दर दिखाई दिया। बच्चे ने मां से एक रोटी ली और बंदर को डाल दिया। बन्दर रोटी खाकर चला गया। अगले दिन वो फिर से आ गया। कुछ ही दिनों में बन्दर की दोस्ती बच्चे से हो गई। By Lotpot 01 May 2022 | Updated On 01 May 2022 12:55 IST in Stories Moral Stories New Update बाल कहानी - सच्ची दोस्ती : एक जंगल के किनारे एक गांव था। एक दिन उस जंगल से निकलकर एक बन्दर गांव में आ गया। वहां उसे एक झोपड़ी में रोटी पकने की सुगंध आई तो वो अंदर झांकने लगा। अंदर एक औरत रोटी पका रही थी और एक बच्चा खाना खा रहा था। बच्चे की नजर खिड़की पर गई तो उसे बन्दर दिखाई दिया। बच्चे ने मां से एक रोटी ली और बंदर को डाल दिया। बन्दर रोटी खाकर चला गया। अगले दिन वो फिर से आ गया। कुछ ही दिनों में बन्दर की दोस्ती बच्चे से हो गई। दोनों दिन भर साथ साथ खेलते और रात को बन्दर वापस जंगल लौट जाता था। एक दिन बच्चे को अपना दोस्त बहुत उदास दिखा। ना उसने रोटी खाई ना उसके साथ खेला। अगले दिन तो वो बच्चे के घर आया ही नहीं। बच्चा बहुत देर तक अपने प्यारे बन्दर का इंतजार करता रहा लेकिन जब वो नहीं आया तो वो उसे जंगल की तरफ ढूंढने निकल गया। वहां जाकर उसने देखा कि बहुत सारे लोग जंगल की कटाई कर रहे हैं। उसने एक मजदूर से पूछा तो पता चला कि उस जगह पर एक सड़क बनने वाली है इसलिए जंगल की कटाई चल रही है। बच्चा भागता हुआ वापस घर पहुंचा और अपनी मां को सारी घटना बता कर जिद करने लगा कि अब वो बन्दर को अपने घर में रखना चाहता है, क्योंकि जंगल कट जाने के बाद वो बेचारा बेघर होकर भटकता रहेगा। परंतु मां ने यह कहकर बंदर को घर लाने से मना कर दिया कि वो कहीं किसी को काट ना दे। बच्चा दुखी मन से वापस अपने दोस्त को ढूंढने जंगल में चला गया। वहां इधर उधर वो उसे ढूंढने लगा। तभी अचानक एक विशाल कोबरा सांप झाड़ियों के पीछे से निकलकर सामने आ धमका, बच्चा घबराकर जैसे ही पीछे हटा, सांप ने फन फैलाकर उसे डसने के लिए झपट्टा मारा, लेकिन तभी चमत्कार हो गया। ना जाने कहां से वही बन्दर कूद कर सांप और बच्चे के बीच में आ गया और सांप ने बन्दर को डस लिया। यह देखकर बच्चा जोर जोर से रोने लगा, उसका रोना सुनकर लोग इकटठे हो गए और सांप भाग गया। लोगों ने बन्दर को तुरंत अस्पताल पहुंचाया। अस्पताल में इलाज के बाद बन्दर स्वस्थ हो गया। बच्चे की मां को जब सारी घटना की सूचना मिली तो उसे समझ में आ गया कि बन्दर और उसके बच्चे में सचमुच गहरी दोस्ती है और बन्दर ने अपनी जान की परवाह न करके उसके बच्चे की जान बचाई है। उसने तुरंत बन्दर को अपने घर ले आने की इजाजत दे दी। सीख : इस कहानी से हमें ये सीख मिलती है कि सच्चे दोस्त हमेशा एक दूसरे की भलाई करते है। -सुलेना मजुमदार अरोरा और ये भी पढ़ें मोती की भक्ति भावना कामचोर बाल कहानी : बुद्धिमान व्यापारी की समझदारी Like Our Facebook Page #Best Hindi Kahani #Moral Story #बाल कहानी #Lotpot Bal Kahania #Moral Kahania You May Also like Read the Next Article