लोटपोट कॉमिक्स : नटखट नीटू और पर्यावरण की सुरक्षा
प्यारे बच्चों, ये कॉमिक्स पर्यावरण के ऊपर है, ये कॉमिक्स बच्चों और बड़ों को प्रदुषण और पर्यावरण के बारे में समझाती है, तो चलिए जल्दी ये कॉमिक्स पढ़ लेते हैं.
प्यारे बच्चों, ये कॉमिक्स पर्यावरण के ऊपर है, ये कॉमिक्स बच्चों और बड़ों को प्रदुषण और पर्यावरण के बारे में समझाती है, तो चलिए जल्दी ये कॉमिक्स पढ़ लेते हैं.
प्यारे बच्चों, जैसा कि आप जानते हैं मोटू नींद में सपने बहुत देखता है, ऐसा ही एक सपना उसे आता है, कि एक पेड़ कुल्हाड़ी लेकर उसे मारने वाला है, तो उससे माफ़ी मांगता है, तब वह पेड़ उसे मारने का कारण बताता है, ये वाला कारण बच्चों आपको भी जानना चाहिए, इसके लिए आपको नीचे दी गई कॉमिक्स पढ़नी होगी.
लोटपोट: नटखट नीटू और मैथ का टेस्ट (Natkhat Neetu Comics) प्यारे बच्चों, आज हम आपके लिए एक मजेदार कॉमिक्स लेकर आये हैं, चलिए हम आपको बताते हैं कि नटखट नीटू अपने दोस्त टीटा के घर जाता हैं, तब उसे पता चलता है कि टीटा आज स्कूल नहीं जा रहा है, वो अपना पेट ख़राब होने 'का बहाना बना देता है, जबकि नीटू और टीटा का आज मैथ का टेस्ट है, नटखट नीटू को भी पता है कि टीटा झूठ बोल रहा है, जब नीटू स्कूल से लौट कर आता है तो नीटू करता है एक खुलासा जिसे जानकार टीटा अपना माथा पीट लेता है, क्या था वो खुलासा जानने के लिए पढ़ें ये मजेदार कॉमिक.
प्यारे बच्चों, हम सब 1 अप्रैल को किसी न किसी को बेवकूफ जरूर बनाते हैं तो ऐसे में हमारे मोटू पतलू क्यों पीछे रहते. उन्होंने डॉ झटका और घसीटाराम को अप्रैल फूल बनाना तो चाहा लेकिन वो उनको ही उल्टा पड़ गया. न...ना.. आगे की कहानी हम आपको नहीं बता सकते हैं, इसके लिए आपको हमारी मोटू पतलू की ये कॉमिक्स पढ़नी होगी, तब आपको पता चलेगा कि कैसे चोर को मोरे पड़ गए. चलिए अब देर किस बात की जल्दी से पढ़िए मोटू पतलू की ये कॉमिक्स.
बच्चों, चलो मैं थोडा समझा देता हूँ कहानी क्या है, होता यूँ है कि रास्ते में एक लुटेरा एक आदमी से उसका पैसों का बैग छीनना चाहता है, ये सब हरकत नटखट नीतू और उसका दोस्त देख लेते हैं. तब नटखट की बोलने वाली फुटबाल और बोलने बाले शूज कुछ ऐसा करते हैं, जिससे चोर चारों खाने चित हो जाता है...पूरी कॉमिक्स का मज़ा लेना है तो नीचे गई लोटपोट कॉमिक्स (Lotpot Comics) की ये मजेदार कॉमिक्स अवश्य पढ़ें :
प्यारे बच्चों, पुराने ज़माने में जब किसी की छत पर कौवा, काँव-काँव करता था तो ये पता चल जाता था कि आज घर में कोई मेहमान आने वाला है, ठीक ऐसा ही हुआ मोटू पतलू के घर, जब उनकी छत पर भी कौवे ने काँव-काँव किया तो वो समझे कि शायद कोई मुफ्त का मेहमान आने वाला है, फिर वो अपना दरवाजा अन्दर से बंद कर लेते हैं, जब वो मेहमान आता है और दरवाजा बंद देखता है तो वो वापस चला जाता है,
कभी कभी कुछ ऐसी घटनाएँ हमारे जीवन में घटती हैं कि अचानक ही मुुंह से कोई उक्ति या मुहावरा निकल पड़ता है। और सच ही वह एक उक्ति संपूर्ण घटना के अर्थ को अपने में समेंट लेती है। हुआ यूँ कि सुनील के घर एक नया नौकर था। बात बात पर बेवकूफी दर्शाता था। प्लेट मंगाओं तोे स्लेट उठा लाता था।
कामचोर- राजू! ओ राजू! माँ ने पुकारा। ओ हो जब देखो काम ही काम, जरा देर हुई नहीं खेलते की चिल्लाना शुरू। राजू बड़बड़ाते हुए माँ के सामने जा पहुँचा। क्या है माँ? उसने पूछा। बेटा जरा बाजार जाकर सब्जी तो ले आना। माँ बोली। ओह! माँ जब घर मे नौकर है तो फिर तुम मुझे ही बेवजह क्यों परेशान करती हो नौकर से मंगवा लो। और राजू गिल्ली डंडा उठाकर फिर जा पहुँचा मैदान में। बिना माँ के जवाब की प्रतीक्षा किये।
बाॅलीवुड स्टार सैफ अली खान (Saif Ali Khan) नवाब खानदान से हैं। उनके पिता मंसूर अली खान पटौदी इंडियन क्रिकेट टीम के कप्तान थे। क्रिकेटर पिता और फिल्म अभिनेत्री शर्मिला टैगोर के बड़े बेटे सैफ बचपन में बहुत शैतान हुआ करते थे । जब सैफ से लोटपोट के नन्हें पाठकों से बातचीत करने के लिये कहा तो उन्होंने कुछ देर सोचा और फिर अपने बचपन की कुछ यादें नन्हें पाठकों के साथ शेयर करते हुये कहते हैं कि आप जब शैतानियां करते हैं तो आपको अपनी मम्मी डैडी से पिटाई खानी पड़ती है और स्कूल टीचर से डाॅट। ऐसा सिर्फ आप लोगों के साथ ही नहीं होता, मुझे भी बचपन में इन हादसों से गुजरना पड़ा था।