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कविता: जीवन की सीख

“जीवन की सीख” एक ऐसी प्रेरणादायक कविता है, जो बच्चों को प्रकृति के माध्यम से जीवन के महत्वपूर्ण मूल्य सिखाती है। कक्षा 5 के विद्यार्थियों के लिए यह कविता बेहद उपयोगी है क्योंकि इसमें सूरज, हवा, चाँद, तारे, पेड़, नदी

By Lotpot
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“जीवन की सीख” एक ऐसी प्रेरणादायक कविता है, जो बच्चों को प्रकृति के माध्यम से जीवन के महत्वपूर्ण मूल्य सिखाती है। कक्षा 5 के विद्यार्थियों के लिए यह कविता बेहद उपयोगी है क्योंकि इसमें सूरज, हवा, चाँद, तारे, पेड़, नदी और झरने जैसी प्राकृतिक वस्तुओं को शिक्षक की तरह प्रस्तुत किया गया है। कविता बताती है कि प्रकृति का हर हिस्सा हमें कुछ न कुछ सिखाता है—सूरज जल्दी उठने का संदेश देता है, हवा जीवन में निरंतर गति बनाए रखने की सीख देती है, और चाँद अपने शांत उजाले से दुनिया को रोशन करने की प्रेरणा देता है।

तारे हमें खुशी और उमंग से भरे गीत गाने के लिए प्रेरित करते हैं, जबकि पेड़ सिखाते हैं कि कठिन परिस्थितियों में भी धैर्य, मेहनत और उदारता बनाए रखनी चाहिए। नदी जीवन में आगे बढ़ते रहने का संदेश देती है, चाहे रास्ता कितना भी कठिन क्यों न हो। वहीं झरना बताता है कि हमें अपने आसपास के लोगों की भलाई करते रहना चाहिए और सकारात्मकता फैलानी चाहिए।

यह कविता न सिर्फ़ बच्चों के भीतर नैतिक मूल्य विकसित करती है, बल्कि उन्हें प्रकृति से जुड़ने और उससे सीखने के लिए प्रेरित करती है। जीवन में धैर्य, परिश्रम, उदारता और निरंतर प्रगति की सोच विकसित करने के लिए यह कविता आदर्श है।

जीवन की सीख कविता

सूरज सिखलाता है हमको  
बड़े सवेरे उठना।  

सिखलाती है हवा सुबह की  
लय में चलते रहना।  

चाँद हमें सिखलाता,  
देना जग को नया उजाला।  

तारे कहते, गीत सुनाओ  
झिलमिल मस्ती वाला।  

पेड़ हमें सिखलाता  
सारे दिन मेहनत में तपना।  

कोई चोट अगर दे,  
तो भी फल से झोली भरना।  

नदी बताती कल-कल स्वर में  
बहना मेरे भाई।  

झरना बोले— पल-पल झरते  
सबकी करो भलाई।

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