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सच और झूठ
Fun Story सच और झूठ:- बहुत पुरानी बात है। एक था बादशाह बड़ा अकडू अपने आगे किसी को कुछ न समझने वाला। दूसरों को नीचा दिखाने में उसको बड़ा मजा आता था। अक्सर उसको कोई न कोई झक सवार हो जाया करती थी। उसके वजीर बादशाह की झक से तंग आ चुके थे। पर करते भी क्या। (Fun Stories | Stories)
एक बार अहंकारी बादशाह ने अपने पूरे राज्य में मुनादी करवा दी, ‘यदि कोई ऐसा अविश्वसनीय किस्सा सुनाये, जिसे सुनकर मैं यह कह दूं कि यह झूठ है तो मैं उसको अपना आधा राज-पाठ इनाम में दे दूंगा। कोई भी छोटा-बड़ा व्यक्ति अपनी किस्मत आजमाने दरबार में आ सकता है।’ (Fun Stories | Stories)
इस मुनादी को सुनने के बाद तमाम किसान अपनी किस्मत आजमाने दरबार में पहुंचे। उन्होंने तरह-तरह की कपोल-कल्पित अविश्वसनीय कहानियां सुनाई। पर किसी की दाल न गली। सभी अपना सा मुंह लेकर लौट गये। सभी कहानियां सुनने के बाद बादशाह ने कहा, ‘हां, यह तो सच है।’ (Fun Stories | Stories)
पर एक न एक दिन घमण्डी का सर अवश्य नीचा होता है और कुछ ऐसा हुआ भी...
पर एक न एक दिन घमण्डी का सर अवश्य नीचा होता है और कुछ ऐसा हुआ भी। हुआ यह एक फटेहाल किसान बादशाह के दरबार में पहुंचा। उसके कंधे पर एक गमछा था और एक हाथ में एक बड़ा सा पीतल का लोटा। वह बादशाह को सादर प्रणाम करने के बाद बोला, ‘हुजूर, याद कीजिए, एक बार आपने मुझसे कर्ज लिया था.. ‘इतना कहकर वह एक क्षण को रूका, फिर उसने अपने हाथ में एक लोटे की ओर इशारा करते हुए कहा, ‘इस पीतल के लोटे का भाई सोने का था। वह सोने का लोटा आप मुझसे उधार ले गये थे और कहा था- लौटा दूंगा। पर वह सोने का लोटा आपने आज तक नहीं लौटाया है।’
‘किस कर्ज की बात कर रहे हो?’ बादशाह के बदन में जैसे आग लग गयी हो। वह गुस्से से लाल-पीला होते हुए बोला, ‘यह झूठ है, सरासर झूठ है।’ अब बद्धिमान किसान बोला, ‘हुजूर, गुस्ताखी माफ! यदि यह सचमुुच झूठ है, तो सौंपिए अपना आधा राज-पाठ।’ (Fun Stories | Stories)
‘नहीं-नहीं, यह सच है। मैंने तुमसे कर्ज लिया है’ बादशाह को कहना पड़ गया। वह अपने बनाये जाल में उलझ गया था। किसान ने अपनी आवाज में शहद घोलते हुए कहा, ‘हुजूर, ईश्वर आपको लंबी उम्र दे! अगर यही सच है तो लोटे भर वजन का सोना मुझे दिला दीजिए।’
‘जरूर! सचमुच तुम इसके हकदार हो।’ बादशाह ने अपनी झेंप मिटाते हुए कहा, ‘मेरे अब्बा हुजूर, ठीक कहा करते थे कि कभी न कभी सेर को सवा सेर मिल ही जाता है।’
किसान खुशी-खुशी अपने घर लौटा और उस दिन के बाद से बादशाह का स्वभाव भी एकदम बदल गया। (Fun Stories | Stories)
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