गगनयान मिशन: एक नई शुरुआत की तैयारी भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट "गगनयान मिशन" के पहले मानवरहित मिशन की लॉन्चिंग अगले साल मार्च में हो सकती है। By Lotpot 25 Nov 2024 in Positive News New Update Listen to this article 0.75x 1x 1.5x 00:00 / 00:00 गगनयान मिशन: एक नई शुरुआत की तैयारी- भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के महत्वाकांक्षी प्रोजेक्ट "गगनयान मिशन" के पहले मानवरहित मिशन की लॉन्चिंग अगले साल मार्च में हो सकती है। यह मिशन न केवल भारत के लिए ऐतिहासिक उपलब्धि होगी, बल्कि यह हमारे देश को उन चुनिंदा देशों की श्रेणी में लाएगा जिन्होंने मानव अंतरिक्ष अभियान संचालित किए हैं। गगनयान मिशन का पहला चरण मानवरहित होगा। वैज्ञानिक इस मिशन के दौरान उत्तरी अटलांटिक महासागर और प्रशांत महासागर में तैनात रहकर मिशन की निगरानी करेंगे। इस मिशन का उद्देश्य भविष्य में 2026 में संभावित मानवयुक्त मिशन के लिए ज़रूरी तकनीकों और प्रणालियों का परीक्षण करना है। कैसे होगी तैयारियां? प्रशांत और उत्तरी अटलांटिक महासागर में निगरानी:इसरो के वैज्ञानिक दोनों महासागरों में विशेष जहाजों पर तैनात रहेंगे। इन जहाजों को "ऑब्जर्वेशन प्वाइंट" तक पहुंचने में दो हफ्ते लग सकते हैं। प्रत्येक जहाज पर इसरो के आठ-आठ वैज्ञानिक होंगे। विशेष उपकरणों का उपयोग:जहाजों पर बेंगलुरु स्थित MOX-ISTRAC और SCC-ISTRAC के साथ हाइब्रिड कम्युनिकेशन सर्किट स्थापित किए जाएंगे, जो मिशन की लाइव ट्रैकिंग में मदद करेंगे। समुद्री ट्रैकिंग की व्यवस्था:इस मिशन के उपकरण और वैज्ञानिक जहाज के डेक पर तैनात रहेंगे। मिशन के दौरान तीन दिनों तक ऑब्जर्वेशन प्वाइंट पर ट्रैकिंग गतिविधियां चलेंगी। क्यों खास है यह मिशन? भारत के अंतरिक्ष इतिहास में मील का पत्थर:अगर यह मिशन सफल होता है, तो यह मानवयुक्त गगनयान मिशन के लिए रास्ता तैयार करेगा। अंतरिक्ष यात्रियों की तैयारी:चार भारतीय अंतरिक्ष यात्री पहले से ही इस मिशन के लिए विशेष ट्रेनिंग ले रहे हैं। सटीकता और तकनीकी दक्षता:यह मिशन न केवल अंतरिक्ष में भारत की तकनीकी क्षमता को साबित करेगा, बल्कि वैश्विक स्तर पर देश की साख भी बढ़ाएगा। महत्वपूर्ण तारीखें और तथ्य मिशन की शुरुआत 1 मार्च 2025 से 31 अगस्त 2025 के बीच हो सकती है। उपकरण और वैज्ञानिक उत्तर अटलांटिक और प्रशांत महासागर के अवलोकन बिंदुओं तक तैनात रहेंगे। यह मिशन भारत के पहले मानवयुक्त अंतरिक्ष मिशन के लिए आवश्यक बुनियादी ढांचे को मजबूत करेगा। क्या कहते हैं विशेषज्ञ? इसरो के वरिष्ठ वैज्ञानिकों के अनुसार, गगनयान मिशन भारत की अंतरिक्ष यात्रा में एक बड़ा बदलाव लाएगा। न केवल अंतरिक्ष में भारत की साख बढ़ेगी, बल्कि यह मिशन वैज्ञानिकों, शोधकर्ताओं और युवाओं के लिए प्रेरणा का स्रोत बनेगा। संभावनाओं की उड़ान गगनयान मिशन केवल भारत के अंतरिक्ष प्रयासों का विस्तार नहीं करेगा, बल्कि यह भारत को अंतरिक्ष अनुसंधान में वैश्विक अग्रणी बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। और पढ़ें :- लोटपोट कॉमिक्स के साथ सितारों के बचपन के दिनों की यादें ताज़ा करें भारत सरकार ने शुरू किया हरित हाइड्रोजन मिशन, 100 करोड़ का निवेश Positive News : डांस या आत्मरक्षा एआई उपकरण ने खोजी 300 नई नाज़का लाइन्स #Lotpot Positive News #Lotopt Positive News #Positive News #hindi Positive News #Positive news about India #Positive news about India in Hindi #positive news about IIT Madras You May Also like Read the Next Article