Bal Kavita: मित्र By Lotpot 26 Jan 2024 in Poem New Update मित्र मित्र मित्र शब्द में छिपा हुआ है,एक अनोखा सा संसार। मित्र शब्द की परिभाषा में,अतंरिक्ष सा है विस्तार। मित्रों के संग बतियाने का,मजा भला वो क्या जाने। करी दोस्ती न हो जिसने,वह क्या इसको पहचाने। मित्र खुशी के साथी होते,मित्र मुसीबत में हमजोली। हिम्मत दुनी हो जाती है,साथी की सुनते जब बोली। मित्र बिछुड़ते तब दुःख होता,और कजेला तुंह को आता। बिछुड़े सखा कभी जब मिलते,स्वर्ग घर पर आ जाता। राय, सुझाव, मशवरा देते,और उत्साह लड़ाते हैं। एक मित्र को मिले सफलता,दूजे फूले नहीं समाते हैं। नकली झूठे और मतलबी,आते बदल मित्र का वेश। घड़ी आपदा की जब आती,रहता पास न कोई शेष। lotpot-e-comics | hindi-bal-kavita | manoranjak-bal-kavita | kids-hindi-poem | kids-rhymes | hindi-rhymes-for-kids | kids poem | लोटपोट | lottpott-i-konmiks | hindii-baal-kvitaa | baal-kvitaa यह भी पढ़ें:- Bal Kavita: जाड़े में भी Bal Kavita: भारत की शान बढाएंगे Bal kavita: पुस्तक Bal Kavita: बच्चों चलो चाँद पर जाएँ #लोटपोट #Lotpot # kids poem #बाल कविता #bal kavita #manoranjak bal kavita #लोटपोट इ-कॉमिक्स #lotpot E-Comics #हिंदी बाल कविता #Hindi Bal Kavita #Hindi Rhymes for kids #kids rhymes #kids hindi poem You May Also like Read the Next Article