New Update
/lotpot/media/media_files/JKWabjYAyNYSuA8VNZiu.jpg)
बिल्ली रानी
00:00
/ 00:00
बिल्ली रानी
बिल्ली रानी कहती फिरती,
शेर सिहं की में हूं मौसी।
कुल परिवार बहुत है ऊंचा,
जो न मानते हैं दोषी।
नस्ल देखकर खूब समझ लो,
यही कह रहा गीदड़ जोशी।
मान शान में मैं आगे हूं,
मैं खाती हूं रबड़ी रोटी।
चूहे घाटिया उन्हें न खाती,
कभी न करती किस्मत खोटी।
राजनीति में आना मुझको,
बिठा रही हूं अपनी गोटी।