नटखट गधा और चमत्कारी चश्मा: एक अनोखी जंगल की कहानी

जंगल में एक नटखट गधा अपनी शरारतों के लिए मशहूर था। उसकी हरकतें जानवरों को परेशान कर देती थीं। एक दिन उसे एक चमत्कारी चश्मा मिलता है, जो उसे हर चीज़ का असली रूप दिखाता है।

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The Naughty Donkey and the Miraculous Glasses A Unique Jungle Story
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जंगल में एक नटखट गधा अपनी शरारतों के लिए मशहूर था। उसकी हरकतें जानवरों को परेशान कर देती थीं। एक दिन उसे एक चमत्कारी चश्मा मिलता है, जो उसे हर चीज़ का असली रूप दिखाता है। यह कहानी मजेदार घटनाओं के साथ सीख देती है कि दूसरों की समस्याओं को समझना और उनका सम्मान करना कितना महत्वपूर्ण है।


जंगल के बीचों-बीच एक बड़ा सा बड़ का पेड़ था, जहां जानवरों की पंचायत होती थी। उसी जंगल में नटखट गधा रहता था, जिसे मस्ती करना बहुत पसंद था। वह शेर के बाल खींच देता, तो कभी खरगोश के गाजर चुराकर भाग जाता। हर कोई उससे परेशान था।

शिकायतों का ढेर

एक दिन सारे जानवर पंचायत में इकट्ठा हुए।
हाथी: "गधे भाई, अब ये शरारतें बंद करो। कल तुमने मेरी सूंड पर पेंट लगा दिया!"
खरगोश: "और मेरी गाजरें क्यों चुराईं? अब मैं भूखा रह गया!"
गधा (हंसते हुए): "अरे, मजाक ही तो किया था। इतना गुस्सा क्यों कर रहे हो?"

सभी जानवर गुस्से में थे, लेकिन गधा अपनी मस्ती में मस्त था।

चमत्कारी चश्मे की खोज

एक दिन गधा जंगल में घूमते हुए एक झाड़ी के पास पहुंचा। झाड़ी के नीचे उसे एक चमचमाता चश्मा मिला।
गधा (चमकती आंखों से): "वाह! नया खिलौना मिल गया। अब और मजे करूंगा।"

जब उसने चश्मा पहनकर देखा, तो वह चौंक गया। उसे जानवरों के दर्द और भावनाएं साफ-साफ दिखाई देने लगीं।

जानवरों का असली दर्द

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गधा खरगोश के पास गया।
खरगोश (दुखी होकर): "गधे भाई, तुम्हारी वजह से मुझे रात भर भूखा रहना पड़ा।"
गधा ने चश्मे से देखा, तो उसे खरगोश की उदासी और भूख साफ दिखाई दी।

फिर वह हाथी के पास गया।
हाथी: "तुम्हारी पेंट वाली शरारत से बच्चे मुझसे डर गए। अब कोई मेरे पास नहीं आता।"
गधा ने देखा कि हाथी सच में बहुत अकेला और उदास था।

गधे का बदलना

गधा समझ गया कि उसकी मस्ती दूसरों को कितनी तकलीफ देती है। उसने तुरंत सब जानवरों से माफी मांगी।
गधा (गंभीर होकर): "मुझे माफ कर दो, दोस्तों। मैं अपनी शरारतों का मतलब अब समझ गया हूं। आगे से ऐसा नहीं करूंगा।"

पंचायत का नतीजा

सभी जानवरों ने गधे को माफ कर दिया।
शेर: "अगर तुमने अपनी गलतियों से सीखा है, तो यह सबसे बड़ी बात है। लेकिन अब सबका ध्यान रखना।"
गधा चश्मा पहनकर हमेशा यह सुनिश्चित करता कि वह किसी को दुख न पहुंचाए।

कहानी से सीख

दूसरों की भावनाओं और तकलीफों को समझना बहुत जरूरी है। शरारत करने से पहले सोचें कि इससे किसी को नुकसान तो नहीं होगा।

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