समझदारी – एक छोटी सोच बड़ी दुश्मनी बन सकती है

बहुत पुरानी बात है। राजस्थान के जैसलमेर जिले के एक गांव में रामू पटेल नाम का एक किसान रहता था। वह अपनी मेहनत और ईमानदारी के लिए गांव में जाना जाता था, लेकिन एक समस्या थी

By Lotpot
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समझदारी – एक छोटी सोच बड़ी दुश्मनी बन सकती है :- बहुत पुरानी बात है। राजस्थान के जैसलमेर जिले के एक गांव में रामू पटेल नाम का एक किसान रहता था। वह अपनी मेहनत और ईमानदारी के लिए गांव में जाना जाता था, लेकिन एक समस्या थी—उसका अपने पड़ोसी के साथ कई वर्षों से झगड़ा चला आ रहा था।

झगड़े की वजह और गाँव का माहौल

दोनों पड़ोसी कभी किसी बात पर सहमत नहीं होते थे। मवेशी कभी एक-दूसरे के खेतों में चले जाते, कभी खेतों की बाड़ उखड़ जाती, और फिर झगड़ा शुरू हो जाता। बात-बात पर तू-तू, मैं-मैं होती और दोनों एक-दूसरे को नुकसान पहुँचाने का कोई मौका नहीं छोड़ते थे। गांव वालों ने कई बार उन्हें समझाने की कोशिश की, लेकिन नफरत इतनी बढ़ गई थी कि कोई हल नहीं निकल पा रहा था।

एक दिन कुछ ऐसा हुआ जो सब बदल गया

गर्मी के दिन थे, लू की गर्म हवाएँ चल रही थीं। दोपहर के समय रामू पटेल अपने खेत पर गया। उसने जैसे ही अपने आम के पेड़ की तरफ नजर डाली, देखा कि उसके पड़ोसी की बहू टोकरी भर कच्चे आम तोड़ चुकी थी। वह चोरी करते हुए रंगे हाथों पकड़ी गई थी। जैसे ही उसने रामू को देखा, वह घबरा गई और एक तरफ सिमटकर खड़ी हो गई।

रामू के मन में तुरंत विचार आया, "आज तो पड़ोसी को सबक सिखाने का सही मौका मिल गया!" वह सोचने लगा कि अब इस चोरी के आरोप में उसे बदनाम किया जाएगा, और पड़ोसी को हमेशा के लिए नीचा दिखाने का मौका मिल जाएगा।

समझदारी से भरा निर्णय

लेकिन जैसे ही वह चिल्लाने के लिए आगे बढ़ा, उसके मन में एक और विचार आया—"अगर मैं इस छोटी-सी चोरी के लिए झगड़ा करूं, तो यह विवाद पीढ़ियों तक चलेगा। हम दोनों कोर्ट-कचहरी के चक्कर में फंस जाएंगे और हजारों रुपये बर्बाद हो जाएंगे, लेकिन फायदा किसी को नहीं होगा।"

रामू ने गहरी सांस ली, आगे बढ़ा, और बहू से कहा – "इतने सारे आम कैसे ले जाओगी? लाओ, मैं टोकरी तुम्हारे सिर पर रखवा दूं।"

पड़ोसी की बहू चकित रह गई! उसने सोचा था कि रामू शोर मचाएगा, लेकिन यहाँ तो कुछ और ही हो रहा था! वह चुपचाप टोकरी लेकर अपने घर चली गई।

पुरानी दुश्मनी का अंत

अगले दिन रामू ने देखा कि उसके पड़ोसी ने बिना कुछ कहे-सुने अपने खेत की बाड़ हटा दी। वह कुछ बोल तो नहीं रहा था, लेकिन उसके हाव-भाव से साफ था कि वह अब झगड़ा खत्म करना चाहता है।

गांव के लोगों को जब इस बदलाव का पता चला, तो उन्होंने रामू पटेल से इसका कारण पूछा। रामू ने मुस्कुराते हुए कहा,
"मैंने सोचा, अगर मैं पड़ोसी की बहू पर चोरी का आरोप लगाऊँ, तो यह दुश्मनी पीढ़ियों तक चलेगी। हम दोनों कचहरी और वकीलों के चक्कर में फंस जाएंगे, लेकिन इससे हमें कोई फायदा नहीं होगा।"

"वास्तव में, यह हुई सच्ची समझदारी!" 😊👏

गांव के सभी लोग रामू पटेल की समझदारी की तारीफ करने लगे और कहने लगे,

कहानी से सीख

👉 दुश्मनी को जितना बढ़ाओगे, उतनी ही बढ़ती जाएगी, लेकिन अगर समझदारी से काम लो, तो पुरानी से पुरानी नफरत भी खत्म हो सकती है।
👉 छोटी-छोटी बातों पर झगड़ा करने से बड़ा नुकसान होता है, और रिश्ते बिगड़ते हैं।
👉 माफ करना और संयम रखना, झगड़े से ज्यादा ताकतवर होता है।
👉 हर छोटी गलती पर लड़ने की जगह अगर शांति और समझदारी से हल निकालें, तो बड़े से बड़ा झगड़ा खत्म हो सकता है।

 

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