विटामिन बी-12 की कमी से ऐसे बचें - विटमिन बी-12 हमारी कोशिकाओं में पाए जाने वाले जीन डीएनए को बनाने और उनकी मरम्मत में सहायता करता है। यह ब्रेन, स्पाइनल कोर्ड और नसों के कुछ तत्वों की रचना में भी सहायक होता है। हमारी लाल रक्त कोशिशओं का निर्माण भी इसी से होता है। यह शरीर के सभी हिस्सों के लिए अलग-अलग तरह के प्रोटीन बनाने का भी काम करता है। क्या हैं लक्षण ? विटामिन बी-12 की कमी से हाथ-पैरों में झनझनाहट और जलन, जीभ में सूजन, कुछ भी याद रखने में परेशानी, त्वचा का पीला पड़ना, कमजोरी महसूस होना, चलने में कठिनाई, अनावश्यक थकान, डिप्रेशन आदि समस्याएं हो सकती हैं। अगर शरीर में विटमिन बी-12 की बहुत ज्यादा कमी हो जाए तो इससे स्पाइनल कोर्ड की नसें नष्ट होने लगती हैं। ऐसी स्थिति में व्यक्ति को पैरालिसिस का भी अटैक हो सकता है। कमी के क्या हो सकते हैं कारण? इसका आनुवंशिक कारण भी हो सकता है।आंतों एवं वजन घटाने की सर्जरी कराना भी इसके लिए जिम्मेदार हो सकता है।क्रोंज्स नामक आंतों की बीमारी, जिस कारण आंतें विटमिन बी-12 का अवशोषण नहीं कर पातीं। अगर व्यक्ति को लंबे समय तक एनीमिया की समस्या रही हो। शाकाहारी लोगों में इसकी कमी आम बात हो जाती है, क्योंकि यह विटामिन मुख्यता एनिमल प्रोडक्ट्स में ज्यादा पाया जाता है। उपचार अक्सर देखा जाता है कि लोग विटामिन बी 12 कि कमी के कारण दिखने वाले लक्षणों को मामूली समझ कर नजरअंदाज करते जाते हैं, किन्तु आगे चल कर यह समस्या गंभीर रूप धारण कर सकती है। ऐसे में जरूरी है कि बिना देर किए विटामिन बी-12 की जांच करवाएं। इसमें ज्यादा खर्च भी नहीं आता। 1500 से 2000 रुपए में यह जांच हो जाती है। दवा की मात्रा मर्ज की गंभीरता पर निर्भर करती है। इसका कोई साइड इफेक्ट नहीं होता। यह दवा आंतों में मौजूद लैक्टोबैसिलस बैक्टीरिया को सक्रिय करने का काम करती है। अगर सही समय पर इसकी पहचान कर ली जाए तो दवाओं और स्वस्थ खानपान से इस समस्या का समाधान हो जाता है। विटामिन बी 12 की कमी के उपचार के लिए मांसाहारी आहार में सुधार के साथ, आमतौर पर तीन से छह महीने तक कैप्सूल दिए जाते हैं। हालांकि शाकाहारियों का स्तर सामान्य होने तक कैप्सूल लेने कि सलाह दी जाती है और कुछ समय अगर लक्षण दोबारा दिखते हैं तो दवा लेने को कहा जाता है। यह भी जाने:- Health: बच्चों के विकास के लिए ज़रूरी डाइट Health: स्वच्छ रहें स्वस्थ रहें Health: सुरक्षित वातावरण में रहना महत्वपूर्ण है स्वस्थ लाइफ स्टाइल यानी फ्री दवाइयां