Jungle Story: स्कूल का रिजल्ट
एक जंगल में जंगल के राजा शेर ने ऐलान कर दिया कि आज के बाद कोई अनपढ़ नहीं रहेगा। जंगल में रहने वाले हर पशु पक्षी को अपना बच्चा स्कूल भेजना होगा। राजा साहब का स्कूल पढ़ा लिखाकर सबको सर्टिफिकेट देगा।
एक जंगल में जंगल के राजा शेर ने ऐलान कर दिया कि आज के बाद कोई अनपढ़ नहीं रहेगा। जंगल में रहने वाले हर पशु पक्षी को अपना बच्चा स्कूल भेजना होगा। राजा साहब का स्कूल पढ़ा लिखाकर सबको सर्टिफिकेट देगा।
एक चिड़ा पेड़ पर घोंसला बनाकर मजे से रहता था। एक दिन वह दाना पानी के चक्कर में अच्छी फसल वाले खेत में पहुँच गया। वहाँ खाने पीने की मौज से बड़ा ही खुश हुआ। उस खुशी में रात को वह घर आना भी भूल गया।
एक बार की बात है, घने जंगल में एक उन्मत्त हाथी ने भारी उत्पात मचा रखा था। वह अपनी ताकत के नशे में चूर होने के कारण किसी को कुछ नहीं समझता था। एक पेड़ पर एक चिड़िया व चिड़े का छोटा-सा सुखी संसार था।
मबावा नाम का एक सियार था, एक दिन उसने फलों से लदे पेड़ को खोज निकाला। उसने पेड़ से गिरे पके रसीले फल इकठ्ठे किये और बस उनका स्वाद लेकर खाने बैठा ही था कि उसे दूर से आती शेर की दहाड़ सुनाई दी।
एक धोबी का गधा था। वह दिन भर कपड़ों के गट्ठर इधर से उधर ढोने में लगा रहता। धोबी स्वयं कंजूस और निर्दयी था। अपने गधे के लिए चारे का प्रबंध नहीं करता था। बस रात को चरने के लिए खुला छोड़ देता।
एक घने जंगल में गिद्धों का एक झुण्ड रहता था। गिद्ध झुण्ड बनाकर लम्बी उड़ान भरते और शिकार की तलाश किया करते थे। एक बार गिद्धों का झुण्ड उड़ते उड़ते एक ऐसे टापू पर पहुँच गया जहां पर बहुत ज्यादा मछली और मेंढक खाने को थे।
मच्छर का परिवार बहुत परेशान था। दिन पर दिन महंगाई बढ़ती जा रही थी और परिवार के सब प्राणी अब तक बेरोज़गार थे। आखिर मांग मांग कर कब तक गाड़ी खिचती। फिर कोई कब तक किसी को देता रहेगा।