बच्चों की नैतिक कहानी: "सुंदर बनने की चाह" | Sundar Banne Ki Chah
आज की कहानी एक ऐसी छोटी सी लड़की मीरा की है, जो हर दिन खुद को दूसरों से कम समझती थी। उसे लगता था कि वह सुंदर नहीं है। लेकिन फिर एक दिन उसकी सोच बदल गई — और उसी दिन से उसकी दुनिया भी।
आज की कहानी एक ऐसी छोटी सी लड़की मीरा की है, जो हर दिन खुद को दूसरों से कम समझती थी। उसे लगता था कि वह सुंदर नहीं है। लेकिन फिर एक दिन उसकी सोच बदल गई — और उसी दिन से उसकी दुनिया भी।
Web Stories: बरसात का मौसम आने वाला था। आसमान में बादल उमड़-घुमड़ रहे थे, और हवा में नमी बढ़ गई थी। एक नन्ही चिड़िया, जो अपने बच्चों के साथ नदी
Web Stories: एक दिन राजा हरिकेश को पास के राज्य से रात्रिभोज का न्योता मिला। राजा ने यह सोचकर न्योता अस्वीकार कर दिया कि पड़ोसी राज्य के लोग विदेशी हैं और उनके इस
Web Stories यों तो आठवीं कक्षा के सभी बच्चे एक से बढ़कर एक थे, जिसे देखों कोई न कोई शरारत करता रहता था, पर अतुल तो पूरी कक्षा में पहले स्थान पर आता था ।
Web Stories बहुत समय पहले की बात है, एक छोटे से राज्य में एक निर्दयी मालिक और उसका गुलाम रहते थे। मालिक इतना क्रूर था कि वह अपने गुलाम को दिन-रात काम करवाता और उसे
यों तो आठवीं कक्षा के सभी बच्चे एक से बढ़कर एक थे, जिसे देखों कोई न कोई शरारत करता रहता था, पर अतुल तो पूरी कक्षा में पहले स्थान पर आता था ।
एक दिन राजा हरिकेश को पास के राज्य से रात्रिभोज का न्योता मिला। राजा ने यह सोचकर न्योता अस्वीकार कर दिया कि पड़ोसी राज्य के लोग विदेशी हैं और उनके इस निमंत्रण के पीछे कोई गलत इरादा हो सकता है।
बहुत समय पहले, एक छोटे से गाँव में राजा वीरेंद्र का शासन था। राजा वीरेंद्र अपने न्यायप्रिय और ईमानदारी के लिए प्रसिद्ध थे। एक दिन राजा ने घोषणा की कि वह अपने राज्य के लोगों में से किसी एक को अपना उत्तराधिकारी चुनेगा।