बच्चों की नैतिक कहानी: बात बहुत छोटी सी
राम रतन में सोच समझ कर काम करने की बुद्धि का अभाव था। वह उतावलेपन कुछ में कुछ भी कर बैठता था। तथा फिर पछताता था। उसके मित्रों ने व उसके माता-पिता ने उसे कई बार समझाया पर उसके समझ में न आया।
राम रतन में सोच समझ कर काम करने की बुद्धि का अभाव था। वह उतावलेपन कुछ में कुछ भी कर बैठता था। तथा फिर पछताता था। उसके मित्रों ने व उसके माता-पिता ने उसे कई बार समझाया पर उसके समझ में न आया।
एक था राजा, जिसे देश-विदेश के किस्म-किस्म के रंग-बिरंगे पक्षी पालने का बड़ा शौक था। अपने इस शौक के खातिर वह खूब दौलत खर्च किया करता। प्रजा के कई लोग रात-दिन जंगलों मे जाते और जाल बिछाकर कई पक्षियों को कैद कर लेते।
केवल चेहरा देखकर चरित्र बताने का दावा करने वाला एक ज्योतिषी जब यूनान के जाने माने दार्शनिक सुकरात के सामने पहुंचा तो वह अपने शिष्यों की मंडली जमाकर बैठे थे।