हिंदी बाल कविता: हम भी फूलों सा मुस्काएं

By Lotpot
New Update
cartoon image of kids playing in garden

हम भी फूलों सा मुस्काएं

Listen to this article
0.75x 1x 1.5x
00:00 / 00:00

हम भी फूलों सा मुस्कायें

लाल, गुलाबी, नीले, पीले,
विविध रंग के फूल खिले हैं।
मुझको तो लगता है जैसे,
आपस में सब मिले मिले हैं।

कांटो की टहनी पर मिलकर,
है गुलाब देखो मुस्काता।
हंसता रहता सदा इसी से,
फूलों का राजा कहलाता।

चंपा,जूही और चमेली,
की भी बात बड़ी है न्यारी।
महक लुटाये भीनी-भीनी,
महक उठे सारी फुलवारी।

दुःख के कांटे मिले अगर तो,
नहीं कभी किचिंत मुरझायें।
हमें देख जग हंस दे सारा,
हम भी फूलों सा मुस्काएं।

lotpot | lotpot E-Comics | kids hindi bal kavita | bachon ki bal kavita | bal kavita in hindi | majedar hindi bal kavita | majedar bal kavita | Bal Kavitayen | hindi bal kavitayen | Hindi Bal Kavita | bal kavita | majedar hindi kavita | bachon ki hindi kavitayen | bachon ki hindi kavita | kids hindi poem | hindi poem for kids | लोटपोट | लोटपोट ई-कॉमिक्स | मजेदार बाल कविता | बच्चों की बाल कविताएं | छोटी बाल कविता | बच्चों की बाल कविता | मनोरंजक बाल कविता | बाल कविताएं | हिंदी बाल कविताएं | हिंदी बाल कविता | बाल कविता | मनोरंजक हिंदी कविता | मजेदार हिंदी कविता | हिंदी कविता | बच्चों की हिंदी कविताएं | बच्चों की मजेदार हिंदी कविता | बच्चों की मजेदार कविता

यह भी पढ़ें:-

हिंदी बाल कविता: समुद्र की गोद

हिंदी बाल कविता: व्यापारी की पोल

बच्चों की हिंदी कविता: रात

Bal Kavita: आई ईद