Public Figure: एक साहसी सच्चा और दूरदर्शी देशभक्त
यह उस समय की बात है जब भारत के महाराष्ट्र में, एक ग्रामीण युवक की आंखों में अजब जोश भरा हुआ था और वो रात दिन, हर हाल में अपने प्यारे देश को विदेशी शासन के चंगुल से मुक्त करने के सपने देख रहा था।
यह उस समय की बात है जब भारत के महाराष्ट्र में, एक ग्रामीण युवक की आंखों में अजब जोश भरा हुआ था और वो रात दिन, हर हाल में अपने प्यारे देश को विदेशी शासन के चंगुल से मुक्त करने के सपने देख रहा था।
शाम का वक़्त था नीटू अपने घर पर आराम कर रहा था की तभी नीटू को बहुत गन्दी बदबू आने लगी, पहले तो नीटू को समझ में नहीं आया की ये बदबू आ कहाँ से रही है।
पी.टी. उषा का जन्म 27 जून 1964 को केरल राज्य के पय्योली गाँव (कालीकट के पास) में एक कम आय वाले परिवार में हुआ था। उनका पूरा नाम पिलावुल्लाकांडी थेक्केपराम्बिल उषा है।
एक दिन गामा अपने दो दोस्तों के साथ बाजार जा रहा था तो उसको रास्ते में शेख चिल्ली की मम्मी दिखती हैं जो की बुलबुल के साथ बज़ार से लौट रही होतीं हैं।
‘‘तुम कब बड़े होगे"? दिन में कई बार राजा को अपनी मां से ये वाक्य सुनना पड़ता था। राजा तेरह साल का था। उसे एक बड़ी अजीब परिस्थिति का सामना करना पड़ रहा था।
स्वामी विवेकानंद भारतीय सन्यासी थे। वह विश्व में हिन्दू धर्म की जागरूकता फैलाने और वेदांत और योग की फिलाॅसफी का प्रचार करने के लिए मशहूर है।
द गिफ्ट ऑफ द जंगल- यह कितना प्यारा शीर्षक है! यह उपाधि कोडाईकनाल (Kodaikanal) के अलावा और किसी के लिए नहीं है। कोडाईकनाल एक तमिल शब्द है और इसका अर्थ है ‘द गिफ्ट ऑफ द फाॅरेस्ट’। कोडाईकनाल की सुंदरता अवर्णनीय है।