चेलाराम ई-कॉमिक्स: चेलाराम और लंबा नाम
गर्मी की छुट्टियां ख़त्म हो चुकी थीं, कुछ बच्चे ख़ुशी ख़ुशी तो कुछ छुट्टियां ख़त्म होने की वजह से उदास मन से स्कूल पहुंचे थे। चेलाराम तो हमेशा की तरह ख़ुशी ख़ुशी स्कूल पहुँच चुके थे।
गर्मी की छुट्टियां ख़त्म हो चुकी थीं, कुछ बच्चे ख़ुशी ख़ुशी तो कुछ छुट्टियां ख़त्म होने की वजह से उदास मन से स्कूल पहुंचे थे। चेलाराम तो हमेशा की तरह ख़ुशी ख़ुशी स्कूल पहुँच चुके थे।
एक बार राजा मान सिंह ने राज्य में अंधे लोगों को भीख देने का फैसला किया। यह सुनिश्चित करने के लिए कि कोई अंधा व्यक्ति भीख लेने से छूट न जाए।
बारिश थम चुकी थी। चारों ओर हरियाली छाई हुई थी। पानी से धुले पेड़ों पर एक नयी छटा दिख रही थी। मधुमक्खी एक खिले हुये फूल पर मडंरा रही थी। वह सारे उपवन में घूम-घूम कर अपने छत्ते पर ले जाने के लिये परागकण एकत्र कर रही थी।
गर्मी का मौसम चल रहा था, नीटू अपने रोबो और डोगो के साथ शाम की सैर के लिए निकल रहा था। तभी घर से निकलते ही उनके सामने एक बहुत बड़ा कैक्टस का पेड़ चलता हुआ आने लगा।