Jungle Story: किसी से क्यों डरना
छोटा बबलू हिरन बड़ा डरपोक था, पेड़ के पत्ते हवा से हिलते तो भी वह डर के मारे उछलकर अपनी माँ की गोद में दुबक जाता। वह बाहर मित्रों के साथ खेलने भी नहीं जाता। वह कहता ‘‘ना बाबा ना, मैं घर के बाहर नहीं जाऊँगा।
छोटा बबलू हिरन बड़ा डरपोक था, पेड़ के पत्ते हवा से हिलते तो भी वह डर के मारे उछलकर अपनी माँ की गोद में दुबक जाता। वह बाहर मित्रों के साथ खेलने भी नहीं जाता। वह कहता ‘‘ना बाबा ना, मैं घर के बाहर नहीं जाऊँगा।
एक चूहा था जिसका नाम मिंटू था। मिंटू की मूंछें इतनी लम्बी थीं कि चलते समय वह उसके पाँव से लिपट जाती थीं। इसलिए मिंटू अपनी मूंछों को सिर के पीछे बाँध लेता था। मिंटू के बाकी साथी उसकी मूंछें लंबी होने के कारण उसे हमेशा चिढ़ाते थे।
किसी गांव में एक लड़का रहता था, उसका नाम था केसर। वह बहुत ही आलसी था और मेहनत करने को पाप समझता था। इसलिए रात के समय में एक दो घरों में चोरी कर लेता था और जो कुछ हाथ लगता था उसी से अपना और अपने परिवार का पेट भर लिया करता था।
घर से बाहर निकाला हुआ भोला घोड़ा रोते-रोते कई मीलों तक चलते-चलते इस जंगल तक पहुँच गया था। भोला को देखकर जंगल के सारे प्राणी आश्चर्य चकित थे कि यह नया प्राणी कहाँ से आ टपका और यह इतना उदास क्यों हैं?
कमल ने अपनी गुल्लक ज़मीन पर उड़ेल दी। बहुत सारे सिक्के ज़मीन पर बिखर गये। कमल ने उन्हें गिनना शुरू कर दिया। उसका उस समय आश्चर्य का कोई ठिकाना नहीं रहा जब उसने देखा कि वे सिक्के कुल मिलाकर 1000 रुपये के लगभग थे।
एक छोटी लड़की एक छोटे, साधारण और गरीब घर में रहती थी। उसका घर पहाड़ों पर था। वह अपने घर के बाहर छोटे से बाग में खेलती रहती थी। जैसे जैसे वह बड़ी हुई तो वह बाग के चारों ओर लगे घेरे के बाहर सुंदर घाटी को देखने लगी।
अकबर की सेना के साथ युद्ध करते समय महाराणा प्रताप बुरी तरह घायल हो गये थे। अरावली के गहरे वनों में झोपड़ी में महाराणा घावों के दर्द से कराह रहे थे। भील जाति का चिकित्सक गजराज सिंह उनकी चिकित्सा कर रहा था।