Jungle Story: डॉ. की सलाह सच में काम आयी
Web Stories: उपवन में वर्षा की पहली फूहार पड़ी थी। चारों ओर जैसे हरियाली थिरक उठी थी। विविध रंग के फूल मुस्कुराते हुए अपनी भीनी-भीनी सुगंध का खजाना लुटा रहे थे। नदिया
Web Stories: उपवन में वर्षा की पहली फूहार पड़ी थी। चारों ओर जैसे हरियाली थिरक उठी थी। विविध रंग के फूल मुस्कुराते हुए अपनी भीनी-भीनी सुगंध का खजाना लुटा रहे थे। नदिया
एक छोटे से गाँव में, दो पंद्रह साल के लड़के रहते थे अर्जुन और रितिक। दोनों बहुत अच्छे दोस्त थे और हमेशा साथ में समय बिताते थे। गाँव के सभी लोग उनकी दोस्ती की मिसाल देते थे।
गांव की एक औरत अपने लड़के को प्राइमरी स्कूल में दाखिल करवाना चाहती थी। उसका खुद का बचपन भी बड़े कष्टों में बीता था। उसका पति एक मजदूर था जो रोज कमाता और रोज खाता था।
केवल पुस्तकें पढ़ लेने से ही कोई व्यक्ति अच्छे रूप से ज्ञानी नहीं हो जाता। जीवन में कई अन्य कुशलताओं का भी उतना ही महत्व है। प्रोफेसर राव को इस बात का ज्ञान काफी समय के बाद हुआ।
गर्मी की एक शाम नसरू घर के बाहर पेड़ के नीचे आराम कर रहा था। तभी उसे कुछ खटपट सुनाई दी। उसने मुड़ कर देखा तो उसके आश्चर्य का ठिकाना नहीं रहा। एक चोर उसके मकान में घुस रहा था।
हमारी इच्छाएं असीमित हैं किन्तु हमारे साधन सीमित हैं। हमारे पास कितना भी धन हो जाये, हमारी कुछ इच्छाएं सदैव पूरी होने से वचिंत रहेंगी। जब तक हम अपने वर्तमान से संतुष्ट होना नहीं सीखते हम दुखी रहेंगे।
विष्णु कॉलेज में पढ़ता था, उसके सभी कॉलेज के मित्रों में एक गुण समान था। कक्षा की पढ़ाई को छोड़कर उन्हे हर काम में दिलचस्पी थी। प्रताप के पिता मैजिस्ट्रेट थे और वह स्वयं एक अच्छा खिलाड़ी था।