Fun Story: एक 420 दूसरा 840
बहुत पहले की बात है, एक बार एक बेईमान आदमी ने भोले-भाले किसान को बातों मे फंसा कर लूट लिया। गांव के रास्ते पर वह फिर मिले तो बेईमान आदमी ने कहा- ‘‘बहुत दिनों बाद मिले हो भाई!’’
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बहुत पहले की बात है, एक बार एक बेईमान आदमी ने भोले-भाले किसान को बातों मे फंसा कर लूट लिया। गांव के रास्ते पर वह फिर मिले तो बेईमान आदमी ने कहा- ‘‘बहुत दिनों बाद मिले हो भाई!’’
एक शहर में एक दर्जी की दुकान थी। यह शहर घने जंगल के काफी करीब था। जानवर और गाँव के लोग एक साथ मिल-जुलकर रहते थे, एक हाथी हर रोज़ दर्जी की दुकान के पास से गुजरता था और दर्जी दया दिखाते हुए हर रोज़ हाथी को चावल का एक गोला खिलाता था।
एक समय की बात है एक घने जंगल में एक नदी बहती थी। उस नदी के किनारे एक सुंदर और चालाक हिरण रहता था। उस नदी के अंदर एक उत्पाती मगरमच्छ रहता था। जब से मगरमच्छ ने हिरण को देखा था, उसी दिन से वह उसे पकड़ना चाहता था।
एक महिला अपने घर से बाहर आई और उसने तीन बुजुर्गों को देखा। उनकी सफेद लंबी दाढ़ी थी और वह आंगन में बैठे थे। वह उनको पहचान नहीं सकी। महिला ने कहा, ‘मुझे नहीं लगता कि मैं आपको जानती हूं। लेकिन ऐसा लग रहा है कि आप भूखे हैं।
वर्तमान के समय में नौकरी तो मिली नहीं इसलिए मैंने ‘असिस्टेंट यमराज’ के लिए आवेदन पत्र भर कर पोस्ट कर दिया। भगवान के घर देर है, अंधेर नहीं है कहावत सच साबित हुई मुझे बिना ‘सोर्स’ के ही नौकरी मिल गई।
टिंकू की मम्मी अपनी बहन से मिलने करोल बाग गई हुई थीं इस लिये घर पांच घण्टे के लिये पूरी तरह टिंकू के कब्जे में था। बड़े मियां घर नहीं हमे किसी का डर नहीं। टिंकू के घर में बच्चों की एक गुप्त मीटिंग हो रही थी।
क्लास-टीचर गोविन्द सहाय ने कक्षा में कदम रखा। रजिस्टर खोलने से पहले उन्होंने घोषणा की- ‘‘तुम्हें याद ही होगा कि प्रधानमंत्री और विरोधी दल के नेता में जूते चल जाने के कारण प्रिंसीपल ने स्कूल की संसद भंग कर दी थी।