हिंदी नैतिक कहानी: मेहनत का फल रामू पढ़ाई में बहुत ही होशियार था उसके मन में बहुत उम्मीदें थीं, कि वह पढ़ लिखकर बड़ा आदमी बनेगा। पर वह हमेशा उदास रहता था परीक्षा निकट थी रामू की मां ने देखा वह हमेशा चुप उदास बैठा आसमान देखा करता है। By Lotpot 28 Jun 2024 in Stories Moral Stories New Update मेहनत का फल Listen to this article 0.75x 1x 1.5x 00:00 / 00:00 हिंदी नैतिक कहानी: मेहनत का फल:- रामू पढ़ाई में बहुत ही होशियार था उसके मन में बहुत उम्मीदें थीं, कि वह पढ़ लिखकर बड़ा आदमी बनेगा। पर वह हमेशा उदास रहता था परीक्षा निकट थी रामू की मां ने देखा वह हमेशा चुप उदास बैठा आसमान देखा करता है। उसने रामू से पूछा "बेटा क्या बात है तुम उदास क्यों बैठे हो"। रामू कुछ न बोला मां के बार बार आग्रह करने पर उसने कहा, "मां मैं कक्षा में हर बार प्रथम आता हूं पर आप मुझे खुश करने के कुछ भी उपहार नहीं दिलाती"। रामू ने कहा मां मेरी कक्षा के जो लड़के मुझसे कम अंक पाते हैं उनके पिता उन्हे खूब... रामू ने कहा "मां मेरी कक्षा के जो लड़के मुझसे कम अंक पाते हैं उनके पिता उन्हे खूब चाॅकलेट टाॅफी दिलाते हैं। उन्हे मन पसन्द खिलौने लाकर देते हैं पर तुम मुझे कभी भी कुछ नही दिलाती"। रामू की मां इस बात से परेशान हुई उसके चेहरे पर निराशा का भाव छा गया। वह कुछ मिनट मौन रखकर बोली परिश्रम करो ईश्वर तुमसे प्रसन्न होकर तुम्हे स्वयं उपहार देंगे। यह बात रामू की समझ में आई वह खुश हो उठा और मन लगाकर पढ़ने लगा। रामू ने रात दिन मेहनत की और परीक्षाओं में सूझ-बूझ से अच्छा काम किया। परिणाम का दिन भी आ गया रामू इस बार फिर कक्षा में प्रथम आया। कक्षा में सब बच्चों ने जोर से ताली बजाई मास्टर जी ने भी रामू की पीठ थपथपाई। रामू खुशी-खुशी घर आ रहा था उसका घर विद्यालय से काफी दूर गांव के दूसरे किनारे पर था वह अपनी धुन में मस्त जा रहा था। राह में थोड़ी दूर उसे पेड़ के नीचे बैठी बुढ़िया दिखाई दी। उसके पास टोकरे में खिलौने फल मिठाई व चाॅकलेट थे, बुढ़िया ने रामू से कहा, "बेटा मैं दूर गांव से आई हूं और मुझे गांव के दूसरी ओर जंगल पार करके जाना है थकावट के मारे मुझसे बोझ उठाया नहीं जाता। तुम मेरा टोकरा उठाकर चल पड़ो। रामू को मां की सीख याद आई कि सदा दुखी व बूढे व्यक्ति की मदद करनी चाहिए। उसने बुढ़िया का टोकरा उठाया व चल पड़ा। रामू आगे आगे व बुढ़िया पीछे-पीछे चल दी। बुढ़िया ने रामू से पूछा "बेटा कौन सी कक्षा में पढ़ते हो, मैं पांचवीं में आ गया हूं। बुढ़िया ने रामू को समझाया बेटा तुम्हारी मां परिश्रम की कमाई से तुम्हें पढ़ाती है। तुम मन लगाकर पढ़ना और एक बात याद रखना कि परिश्रम का फल मीठा होता है। रामू आगे चलता गया अब उसका घर आने वाला था उसने कहा। बुढ़िया मां अब मेरा घर आने वाला है तुम कुछ देर विश्राम कर अपना टोकरा लेकर चली जाना, उसे कोई जवाब न मिला। रामू आश्चर्य चकित हुआ कि बुढ़िया मां बोलती क्यों नहीं है। उसने पीछे मुड़कर देखा तो वहां कोई नहीं था उसने जोर से आवाज लगाई, बुढ़िया मां बुढ़िया मां पर कोई प्रत्युत्तर न मिला। अन्त में परेशान होकर उसने टोकरा उठाया व घर आ गया रामू ने दुखी मन से सारी बात मां को बताई। मां ने सब सुुनकर मुस्कुराई उसने रामू को छाती से लगा लिया और कहा बेटा यही तुम्हारा उपहार है। यह भी पढ़ें:- हिंदी नैतिक कहानी: सबसे दुखी आदमी हिंदी नैतिक कहानी: बड़ों का व्यवहार बच्चों की हिंदी नैतिक कहानी: जो चाहोगे सो पाओगे Moral Story: भगवान का जन्म #बाल कहानी #लोटपोट #Lotpot #Bal kahani #Bal Kahaniyan #Hindi Bal Kahaniya #Hindi Moral Stories #Hindi Bal Kahani #Hindi Moral Story #lotpot E-Comics #हिंदी बाल कहानी #हिंदी नैतिक कहानी #छोटी हिंदी कहानी #Kids Hindi Moral Stories #छोटी कहानियाँ #छोटी कहानी #Hindi Bal Kahaniyan #Best Hindi Bal kahani #बाल कहानियां #लोटपोट ई-कॉमिक्स #हिंदी बाल कहानियाँ #kids hindi moral story #hindi moral stories for kids #छोटी नैतिक कहानियाँ #बच्चों की हिंदी कहानियाँ #छोटी नैतिक कहानी #छोटी प्रेरक कहानी #बच्चों की मजेदार हिंदी कहानी #बच्चों की प्रेरणादायक हिंदी कहानी #बच्चों की हिंदी नैतिक कहानी #हिंदी नैतिक कहानियाँ #बच्चों की हिंदी कहानी #छोटी हिंदी कहानियाँ #मजेदार बाल कहानी #मज़ेदार छोटी कहानी #Bal Kahani in Hindi #bachon ki hindi kahani #बच्चों की बाल कहानी #बच्चों की छोटी हिंदी कहानी #bachon ki hindi kahaniyan #Bachon ki hindi prerak kahani #bachon ki hindi naitik kahani #hindi naitik kahani #मज़ेदार बाल कहानी #majedar bal kahani #bachon ki hindi comics #प्रेरक हिंदी कहानी #hindi moral kahani #bachon ki hindi moral story #छोटी हिंदी नैतिक कहानी #बच्चों की छोटी कहानी #choti hindi naitik kahani #bachon ki majedar hindi kahani #मजेदार छोटी हिंदी कहानी #hindi naitik kahaniyan #bachon ki hindi prerak kahaniyan #छोटी मजेदार कहानी #बच्चों की हिंदी नैतिक कहानियाँ #छोटी बाल कहानी #मजेदार बाल कहानियां #बच्चों की बाल कहानियां You May Also like Read the Next Article